हास्‍यम्-व्‍यंग्‍यम् : वार्षिक पत्रिका

कमला गोइन्का फाउण्डेशन अपने साहित् पुरस्कार समारोह की चिर-स्मृति स्वरूप स्मारिका का प्रकाशन करता रहा है, इसी स्मारिका के मध् से बात निकली कि क्यों इसको एक वार्षिक पत्रिका का स्वरूप दिया जाए। जो कि हास् एवं व्यंग् पर केन्द्रित हो तथा साथ ही साथ समारोह की रपट, विवरण से समावेशित हो।
बस फिर क्या था, एक योजना बनी और 'हास्यम्-व्यंग्यम्' नाम से वार्षिक पत्रिका प्रारंभ हो गई।

पत्रिका में हिंदी, राजस्थानी, उर्दू, अन् भारतीय भाषाओं विदेशी भाषाओं के खण् सृजित हुए। पत्रिका में पुरस्कार खण् अलग से रखा गया, जो कि फाउण्डेशन के पुरस्कार समारोह की स्मृति लिए हुए है।

पत्रिका के परामर्शदाता श्री विश्वनाथ सचदेव रहे, जबकि संपादन श्री गिरिजाशंकर त्रिवेदी ने किया। सहयोग राजस्थानी विद्वान डॉ. मदन केवलिया का रहता है।

'हास्यम्-व्यंग्यम्' हास्-व्यंग् का अनूठा आयोजन है।